आजम खां और उनके बेटे की अचानक रात को जेल शिफ्ट नहीं कर सकेगी सरकार, कोर्ट से लेनी होगी अनुमति

रामपुर। समाजवादी पार्टी (Samajwadi Party) के महासचिव आजम खां (Azam Khan) का आधी रात जेल से शिफ्टिंग (Shifting from Midnight Jail) का डर खत्म हो गया है। पुलिस प्रशासन या सरकार अब अचानक उनकी जेल शिफ्ट नहीं कर सकेगी। आजम खां (Azam Khan) की अर्जी पर कोर्ट ने स्पष्ट कहा है कि आजम खां और उनके बेटे अब्दुल्ला आजम (Son Abdullah Azam) को दूसरी जेल में शिफ्ट करने से पहले कोर्ट की अनुमति ली जाए। पिछली बार आधी रात उन्हें और अब्दुल्ला को अचानक बैरक से उठाया गया और जेल शिफ्ट कर दिया गया था। इस वाक्ये को आजम खां ने मीडिया में बयां करते हुए इसे सबसे दुखद और सहमा देने वाली घटना बताई थी। यही वजह है कि इस बार उन्होंने पहले से ही कानूनी रास्ता अख्तियार कर लिया है।

मालूम हो कि पूर्व में आजम खां और अब्दुल्ला आजम को रातोंरात रामपुर जेल से शिफ्ट किया गया था। अब्दुल्ला आजम को हरदोई तो आजम खां को सीतापुर जेल भेजा गया था। इस शिफ्टिंग पर आजम खां पिछले दिनों मीडिया में खुलकर बोले थे। उन्होंने यहां तक कहा था कि जब रात के अंधेरे में मुझे और मेरे बेटे को अलग-अलग गाड़ियों में ले जाया जा रहा था तो मैं एक डरा हुआ बाप था, डर था कि न जाने अब क्या होगा…? यहां तक कि अलग अलग गाड़ी में बैठाने के बाद यह भी नहीं बताया था कि कहां लेकर जा रहे हैं।

मालूम हो कि बेटे अब्दुल्ला आजम के दो पैनकार्ड मामले में सोमवार को अदालत ने अब्दुल्ला के साथ ही आजम खां को सात साल की सजा सुनाई थी। इसी दौरान आजम खां ने अदालत में अर्जी लगाई थी कि हम जनप्रतिनिधि हैं, हमें ए ग्रेड की बैरक में रखा जाए। आजम-अब्दुल्ला की इस अर्जी पर अदालत ने जेल प्रशासन से रिपोर्ट तलब की थी। कोर्ट के आदेश के अनुपालन में जिला जेल प्रशासन ने अपनी रिपोर्ट अदालत में मंगलवार को दाखिल कर दी थी।

इसमें कहा गया है कि रामपुर जनपद कारागार बी ग्रेड की जेल है। यहां ए ग्रेड की सुविधाओं वाली कोई बैरक नहीं है। प्रशासन चाहे तो उन्हें कहीं अन्य शिफ्ट कर सकता है। जेल प्रशासन की रिपोर्ट पर अदालत में बुधवार को बहस हुई। बहस के बाद देर शाम कोर्ट ने अपना निर्णय दे दिया। एडीजीसी संदीप सक्सेना ने बताया कि अदालत ने जेल मैनुअल के अनुसार कार्रवाई करने के लिए कहा है। साथ ही यह भी आदेश दिया है कि कोर्ट की अनुमति के बिना आजम खां और अब्दुल्ला आजम को कहीं अन्य जेल में शिफ्ट न किया जाए।