अवधेश प्रसाद का जोरदार बयान: राम मंदिर कार्यक्रम में न्योता मिला तो नंगे पैर होंगे शामिल

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नई दिल्ली। रामनगरी अयोध्या एक बार फिर भव्य और दिव्य स्वरूप में सजकर तैयार है। 25 नवंबर को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी राम मंदिर के शिखर पर भगवा ध्वज फहराकर ऐतिहासिक ध्वजारोहण समारोह का शुभारंभ करेंगे। इस ऐतिहासिक अवसर से ठीक पहले अयोध्या में सियासी गरमाहट भी बढ़ गई है।

स्थानीय सांसद और सपा नेता अवधेश प्रसाद ने दावा किया है कि उन्हें अभी तक इस कार्यक्रम का न्योता नहीं मिला। उन्होंने कहा कि यदि उन्हें निमंत्रण मिलेगा, तो वह सारा कामधाम छोड़कर नंगे पैर ही मंदिर जाएंगे। उनका यह बयान सत्य सनातन धर्म प्रचारक दिवाकराचार्य महाराज द्वारा उन पर सार्वजनिक कार्यक्रमों में अनुपस्थित रहने के आरोप के बाद आया।

अवधेश प्रसाद ने कहा, स्थानीय सांसद होने के नाते मेरी नैतिक जिम्मेदारी है कि मैं प्रभु श्रीराम के इस भव्य आयोजन का हिस्सा बनूं। मुझे इस पर गर्व है कि प्रभु श्रीराम, हनुमान जी, मां सीता और सरयू माई की कृपा मेरे साथ है। सांसद ने यह भी बताया कि वह लगातार तैयारियों पर नजर रखे हुए हैं और सरकारी व्यवस्थाओं की जानकारी लेने के लिए प्रशासन के संपर्क में हैं।

धार्मिक कार्यक्रम में सियासत और प्रतिक्रिया

ध्वजारोहण समारोह को लेकर सपा नेताओं ने भाजपा पर राजनीतिक तंज कसा है। उन्होंने तुलसीदास की चौपाई का हवाला देते हुए कहा कि भाजपा सरकार ने रामराज्य की मान्यताओं को बिगाड़ा है। वहीं, भाजपा प्रवक्ता एसएन सिंह ने इस पर पलटवार किया और कहा कि सपा नेता केवल अनर्गल प्रलाप कर रहे हैं। इटावा से सपा सांसद जितेंद्र दोहरे ने भी पीएम मोदी के धार्मिक कार्यक्रम में शामिल होने पर सवाल उठाए। सपा नेताओं के न्योता न मिलने का दावा और नंगे पैर जाने की घोषणा, प्रधानमंत्री के आगमन से पहले अयोध्या में सियासी माहौल को गर्म कर रही है।

ध्वजारोहण समारोह का कार्यक्रम

प्रधानमंत्री मोदी का कार्यक्रम धार्मिक अनुष्ठानों और भव्य स्वागत पर केंद्रित रहेगा। पीएम अयोध्या एयरपोर्ट पर लैंड करेंगे और हेलीकॉप्टर से साकेत महाविद्यालय के हेलीपैड पहुँचेंगे। वहां से राम मंदिर तक भव्य रोड शो होगा, जिसमें 501 बटुक ब्राह्मणों द्वारा स्वस्तिवाचन और शंखनाद के बीच अभिनंदन किया जाएगा। मार्ग में 12 मंचों से पुष्प वर्षा और सांस्कृतिक कार्यक्रम आयोजित होंगे।

मुख्य ध्वजारोहण समारोह 11:52 से 12:35 बजे तक विवाह पंचमी और अभिजीत मुहूर्त में संपन्न होगा। प्रधानमंत्री राम मंदिर के शिखर पर केसरिया विजय ध्वज फहराएंगे। इसके बाद वह रामलला और सप्तमंदिर दर्शन करेंगे और आमंत्रित गणमान्य अतिथियों एवं संतों को संबोधित करेंगे।

राम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट और प्रशासन ने पीएम मोदी के आगमन के लिए व्यापक सुरक्षा और स्वागत व्यवस्था पूरी कर दी है। यह कार्यक्रम राम मंदिर के मुख्य निर्माण की पूर्णता और भव्य धार्मिक तथा आध्यात्मिक महत्ता का प्रतीक होगा।