रूस के पूर्वी तट पर भूकंप के बाद फटा ज्वालामुखी, मंडराया सुनामी का भी खतरा

मॉस्को । रूस के पूर्वी तट पर 7.0 तीव्रता वाले भूकंप के बाद शिवलुच ज्वालामुखी फट गया है। इस घटनाक्रम के बाद सुनामी का खतरा भी बना हुआ है। हालांकि, अबतक भूकंप के झटकों या ज्वालामुखी के फटने से जनहानि नहीं हुई है। विशेषज्ञों की टीम इमारतों की जांच कर रही है कि भूकंप के तेज झटकों से इन्हें कितना नुकसान पहुंचा है।

रूस में रविवार सुबह (स्थानीय समयानुसार) भूकंप के तेज झटके महसूस किए गए। रिएक्टर स्केल पर भूकंप की तीव्रता 7 मापी गई है। भूकंप का केंद्र सुदूर-पूर्वी कामचटका प्रायद्वीप का तट रहा। संयुक्त राज्य भू-वैज्ञानिक सर्वेक्षण के अधिकारियों के अनुसार, रूस में भूकंप सुबह सात बजे के ठीक बाद आया। इसका केंद्र पेट्रोपावलोव्स्क-कामचत्स्की शहर से लगभग 90 किलोमीटर पूर्व में कामचटका प्रायद्वीप के पानी में लगभग 50 किलोमीटर की गहराई पर आया।

रूसी आपातकालीन मंत्रालय ने भूकंप के कारण सुनामी की चेतावनी जारी नहीं की। हालांकि, अमेरिकी सुनामी चेतावनी प्रणाली का कहना है कि इस भूकंप से रूस के समुद्र से सटे इलाकों में सुनामी की खतरनाक लहरें आ सकती हैं। चेतावनी में कहा गया है कि भूकंप के केंद्र से 300 किलोमीटर तक सुनामी का खतरा है।

भूकंप के तेज झटकों के बाद शिवलुच ज्वालामुखी फट गया है। समुद्र तल से 8 किलोमीटर ऊपर तक ज्वालामुखी से निकली राख देखी जा सकती है। शिवलुच ज्वालामुखी पेट्रोपावलोव्स्क-कामचत्स्की से लगभग 280 मील दूर स्थित है, जो एक तटीय शहर है। यह रूस के कामचटका में स्थित है। यूएस जियोलॉजिकल सर्वे (यूएसजीएस) के मुताबिक भूकंप का केंद्र पेट्रोपावलोव्स्क-कामचत्स्की से लगभग 55 मील दूर था।