दिल्‍ली में UPSC छात्रों की मौत के बाद बुलडोजर ऐक्शन, कोचिंग सेंटर के बेसमेंट सील

IAS coaching centre deaths: MCD begins 'bulldozer action' against  encroachment, suspends officials – India TV

नई दिल्‍ली । दिल्ली के ओल्ड राजेंद्र नगर स्थित कोचिंग सेंटर में तीन यूपीएस छात्रों की मौत के बाद एक के बाद एक बड़े ऐक्शन लिए जा रहे हैं। इसी कड़ी में प्रशासन ने अब बुल्डोजर ऐक्शन लिया है। जानकारकी के मुताबिक ये कार्रवाई ओल्ड राजिंदर नगर में कथित अतिक्रमण के खिलाफ की जा रही है। मौके पर स्थानीय प्रशासन और पुलिस के अधिकारी मौजूद हैं।

मामले में अब तक पांच लोग अरेस्‍ट हुए

इससे पहले पुलिस इस मामले में 5 अन्य लोगों को गिरफ्तार कर चुकी है जिसके बाद गिरफ्तार लोगों की कुल संख्या 7 हो गई है। पुलिस ने आश्वासन दिया है कि इस मामले में शामिल हर शख्स के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी। दिल्ली पुलिस ने उस गाड़ी के ड्राइवर को भी गिरफ्तार कर लिया है जो शनिवार शाम ओल्ड राजेंद्रनगर इलाके में पानी के बीच से गाड़ी निकालकर ले गया था। इसी के चलते पानी में तेज लहर उठी थी जिससे कोचिंग सेंटर का गेट टूट गया था। इसका वीडियो भी सोशल मीडिया पर काफी वायरल हुआ था।

13 कोचिंग सेंटर के बेसमेंट सील

इससे पहले एमसीडी ने भी सख्त ऐक्शन लेते हुए इलाके के 13 कोचिंग संस्थानों के बेसमेंट सील कर दिए थे। रविवार को अधिकारी ने बताया कि नगर निगम एक कोचिंग सेंटर के ‘बेसमेंट’ में पानी भर जाने से तीन लोगों की मौत की घटना की जांच के लिए एक उच्चस्तरीय समिति गठित करेगा। दिल्ली सरकार की ओर से जारी एक बयान में कहा गया कि नगर निगम की एक टीम रविवार को ओल्ड राजेंद्र नगर इलाके में अवैध रूप से संचालित कई कोचिंग सेंटर के ‘बेसमेंट’ को सील करने पहुंची।

रविवार देर रात तक जारी कार्रवाई के दौरान करीब 13 कोचिंग सेंटर सील किए गए। इनमें आईएएस गुरुकुल, चहल अकादमी, प्लूटस अकादमी, साई ट्रेडिंग, आईएएस सेतु, टॉपर्स अकादमी, दैनिक संवाद, सिविल्स डेली आईएएस, करिअर पावर, 99 नोट्स, विद्या गुरु, गाइडेंस आईएएस और ‘इजी फॉर आईएएस’ शामिल हैं।

कोचिंग सेंटर को लेकर बड़े खुलासे

जिस कोचिंग सेंटर में तीन यूपीएससी छात्रों की मौत हुई, उसे लेकर भी बड़े खुलासे हुए हैं। कोचिंग सेंटर को मिली एनओसी के मुताबिक बेसमेंट का इस्तेमाल केवल स्टोरेज के लिए किया जाना था लेकिन इसके विपरित वहां लाइब्रेरी बनाई गई। इसके अलावा बेसमेंट में कोई ड्रेनेज सिस्टम भी नहीं था जिससे पानी बहुत जल्दी भर गया जिसमें तीन छात्रों की डूबकर मौत हो गई।